मनीषा शर्मा। भारत के पूर्व विदेश मंत्री नटवर सिंह का शनिवार, 10 अगस्त की रात 93 वर्ष की आयु में निधन हो गया। वे लंबे समय से बीमार थे और गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में भर्ती थे, जहां उन्होंने अपनी अंतिम सांस ली। नटवर सिंह का अंतिम संस्कार 12 अगस्त को लोधी रोड श्मशान घाट पर किया जाएगा।
नटवर सिंह ने 2004-05 के दौरान UPA-I सरकार में भारत के विदेश मंत्री के रूप में कार्य किया था, जब मनमोहन सिंह प्रधानमंत्री थे। उनकी राजनयिक सेवा का करियर 31 साल लंबा था, जिसमें उन्होंने पाकिस्तान, अमेरिका और संयुक्त राष्ट्र में भारत के राजदूत के रूप में कार्य किया। वे 1966 से 1971 तक प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के कार्यालय में विशेष सहायक के रूप में भी जुड़े रहे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नटवर सिंह के निधन पर शोक व्यक्त किया और X (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा कि नटवर सिंह ने डिप्लोमेसी और विदेश नीति में महत्वपूर्ण योगदान दिया। नटवर सिंह का जन्म 16 मई 1929 को राजस्थान के भरतपुर जिले में हुआ था। उन्होंने मेयो कॉलेज, अजमेर और सेंट स्टीफंस कॉलेज, दिल्ली से शिक्षा प्राप्त की और बाद में कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी से स्नातक किया।
नटवर सिंह 1984 में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस में शामिल हुए और भरतपुर से सांसद बने। उन्होंने अपने जीवन में कई महत्वपूर्ण पुस्तकें और संस्मरण लिखे, जिनमें ‘वन लाइफ इज नॉट इनफ’ प्रमुख है। 1984 में उन्हें पद्म भूषण से सम्मानित किया गया। नटवर सिंह का निधन भारतीय राजनयिक और राजनीतिक जीवन के एक अध्याय का अंत है।