मनीषा शर्मा। राजस्थान में ग्रेजुएट लेवल CET (कॉमन एलिजिबिलिटी टेस्ट) की परीक्षा के दौरान अभ्यर्थियों को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ा। भारी संख्या में पंजीकृत अभ्यर्थियों के बावजूद प्रशासनिक अव्यवस्थाएं साफ नजर आईं। बसों की कमी, परीक्षा केंद्रों पर अनियंत्रित भीड़, और सख्त जांच प्रक्रिया ने उम्मीदवारों को मुश्किलों में डाल दिया। कुछ प्रमुख घटनाओं ने CET की व्यवस्थाओं पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं।
भरतपुर में अभ्यर्थियों की पिटाई
भरतपुर में अलवर जा रहे धौलपुर के अभ्यर्थियों के साथ एक दर्दनाक घटना घटी। रोडवेज बस ड्राइवर ने अभ्यर्थियों को अलवर तक पहुंचाने से इनकार कर दिया और बस को भरतपुर में रोक दिया। जब अभ्यर्थियों ने इसका विरोध किया, तो रोडवेज कर्मचारियों ने उन्हें बस से उतारकर लाठी-डंडों से पीट दिया। कई छात्रों को चोटें आईं, और एक अभ्यर्थी को अस्पताल में भर्ती करना पड़ा। इस घटना ने रोडवेज प्रशासन की लापरवाही को उजागर किया।
लोहागढ़ डिपो के चीफ मैनेजर सुदीप दीक्षित ने घटना की जांच की बात कही है, लेकिन अब तक दोषियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है। हालांकि, अभ्यर्थियों ने कोई औपचारिक शिकायत दर्ज नहीं करवाई, और वे प्राइवेट वाहनों के जरिए अपने गंतव्य की ओर रवाना हो गए।
बाड़मेर में बसों में सीट के लिए मारामारी
बाड़मेर जिले में केंद्रीय बस स्टैंड पर भी भीषण अव्यवस्था देखने को मिली। जोधपुर के परीक्षा केंद्रों पर जाने के लिए भारी संख्या में अभ्यर्थी बसों में सवार हुए, लेकिन रोडवेज प्रशासन द्वारा पर्याप्त बसें उपलब्ध नहीं कराई गईं। नतीजतन, सीटों के लिए मारामारी और अफरा-तफरी मच गई। कई छात्र खिड़कियों से बस में चढ़ते नजर आए।
ग्रामीण इलाकों से परीक्षा देने आए छात्रों ने बताया कि बाड़मेर में परीक्षा केंद्र नहीं होने के कारण उन्हें लंबी दूरी तय करनी पड़ी। सुबह 5 बजे से ही अभ्यर्थी बस स्टैंड पर पहुंच गए थे, लेकिन भीड़ और अव्यवस्था के कारण समय पर केंद्र पहुंचने की चिंता बनी रही।
उदयपुर में अभ्यर्थियों की शर्ट काटी गई
उदयपुर में 84 परीक्षा केंद्रों पर CET परीक्षा की सख्त सुरक्षा जांच की गई। कई अभ्यर्थियों को पूरी आस्तीन की शर्ट पहनने के कारण बाहर ही रोक दिया गया और उनकी शर्ट को कैंची से काटा गया। कुछ अभ्यर्थियों ने शर्ट उतारकर सिर्फ बनियान में परीक्षा दी। इसके अलावा, ज्वेलरी पहनकर आने वाले अभ्यर्थियों को ज्वेलरी उतारकर ही प्रवेश दिया गया।
प्रवेश से पहले सभी अभ्यर्थियों की वीडियोग्राफी की गई, और पुलिस की कड़ी सुरक्षा के बीच परीक्षा आयोजित की गई। बोर्ड की गाइडलाइन्स के अनुसार, परीक्षा शुरू होने से 1 घंटे पहले ही प्रवेश की अनुमति दी गई।
भीलवाड़ा में महिला अभ्यर्थियों से गहने उतरवाए गए
भीलवाड़ा में कड़ी सुरक्षा जांच के बीच परीक्षा आयोजित की गई। लगभग 37,000 अभ्यर्थी दो दिन की परीक्षा में शामिल हुए। कई महिला अभ्यर्थियों को सेंटर के बाहर ही गहने उतारने पड़े। सुरक्षा जांच के बाद ही उन्हें परीक्षा केंद्र में प्रवेश दिया गया। भीलवाड़ा जिले के 31 केंद्रों पर सख्त निगरानी रखी गई।
बसों की कमी और सीटों की मारामारी ने अभ्यर्थियों को परेशान किया
CET परीक्षा के लिए कई जिलों में केंद्र नहीं दिए जाने के कारण अभ्यर्थियों को लंबी दूरी तय करनी पड़ी। रोडवेज बसों में सीट की कमी और भीड़भाड़ के चलते छात्रों को खासी परेशानी उठानी पड़ी। बाड़मेर और अन्य जिलों में पर्याप्त बसों की व्यवस्था नहीं होने से अभ्यर्थियों को दौड़-दौड़ कर बसों में सवार होना पड़ा।
परीक्षा व्यवस्थाओं पर सवाल
राजस्थान CET परीक्षा में 13 लाख से अधिक अभ्यर्थी शामिल हो रहे हैं। यह परीक्षा 4 चरणों में आयोजित हो रही है, जिसमें हर चरण में 50,000 अभ्यर्थी शामिल होते हैं। परीक्षा का समापन 28 सितंबर को होगा। हालांकि, पूरे प्रदेश में अव्यवस्था और प्रशासनिक खामियों ने परीक्षार्थियों की समस्याओं को और बढ़ा दिया है।
परीक्षा के दौरान जाम की समस्या भी सामने आ रही है। पुलिस प्रशासन को ट्रैफिक सुचारू रखने में मशक्कत करनी पड़ रही है, खासकर परीक्षा के खत्म होने के समय। जनता को भी इस दौरान भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों से बचने की सलाह दी गई है।