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राजस्थान SI भर्ती पेपर लीक केस: RPA से 6 ट्रेनी एसआई फरार

राजस्थान SI भर्ती पेपर लीक केस: RPA  से 6 ट्रेनी एसआई फरार

मनीषा शर्मा। राजस्थान में एसआई भर्ती 2021 पेपर लीक मामले में नए मोड़ सामने आए हैं। पिछले शुक्रवार को राजस्थान पुलिस अकादमी (RPA) ट्रेनिंग सेंटर से तीन एसआई, जो ट्रेनिंग में थे, दीवार फांदकर फरार हो गए। इसके अतिरिक्त तीन अन्य ट्रेनी एसआई छुट्टी लेकर अकादमी से बाहर गए और वापस नहीं लौटे। बताया जा रहा है कि इन सभी ट्रेनी एसआई के नामों का खुलासा बीकानेर स्थित पोरव कालेर गैंग ने किया था, जो इस पेपर लीक मामले में पहले ही एसओजी की हिरासत में हैं। एसओजी (स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप) की टीम सभी फरार ट्रेनी एसआई की खोजबीन में जुटी हुई है और उनके ठिकानों पर लगातार दबिश दे रही है।

फरार हुए ट्रेनी एसआई की पहचान:

एसओजी के अनुसार, दीवार कूदकर भागने वाले ट्रेनी एसआई में 7वीं रैंक प्राप्त अभय सिंह, 87वीं रैंक वाले भागीरथ, और 144वीं रैंक के शंकर लाल शामिल हैं। वहीं, छुट्टी लेकर फरार हुए ट्रेनी एसआई में मोनिका जाट (34वीं रैंक), गोविंदराम बिश्नोई (39वीं रैंक), और प्रियंका गोस्वामी (102 वीं रैंक) के नाम शामिल हैं। इस मामले में एसओजी ने पहले ही पोरव कालेर, प्रवीण कुमार बिश्नोई, दिनेश चौहान, और नरेशदान को जून महीने में गिरफ्तार कर लिया था। पूछताछ के दौरान पोरव कालेर गैंग ने इन ट्रेनी एसआई के नामों का खुलासा किया, जिसके बाद इन्हें भी एसओजी की रडार पर लाया गया।

50 से अधिक गिरफ्तारियां, कई अब भी फरार:

एसआई भर्ती 2021 में पेपर लीक मामले में अब तक 50 से ज्यादा ट्रेनी एसआई और पेपर लीक गैंग के 30 से अधिक सदस्य गिरफ्तार हो चुके हैं। एसओजी ने इस पेपर लीक मामले की जांच के दौरान अप्रैल 2021 में पहली बार गिरफ्तारियां शुरू की थीं। इसके बाद से कई ट्रेनी एसआई और पेपर लीक गैंग के अन्य लोग भी एसओजी की निगरानी में हैं।

वर्षा बिश्नोई की गिरफ्तारी:

हाल ही में, जोधपुर रेंज की टीम ने 7 अक्टूबर की सुबह कोटा से वर्षा बिश्नोई नामक एक आरोपी को गिरफ्तार किया, जो लंबे समय से डमी अभ्यर्थी बनकर फरारी काट रही थी। वर्षा बिश्नोई, जालोर के सांचौर के सरनाऊ गांव की निवासी है, और अब एसओजी इस मामले में उससे पूछताछ करेगी ताकि मामले के अन्य पहलुओं पर प्रकाश डाला जा सके।

RPSC के पूर्व सदस्य और परिवार की भूमिका:

इस मामले में राजस्थान लोक सेवा आयोग (RPSC) के पूर्व सदस्य रामू राम राईका की भूमिका भी सामने आई है। रामू राम राईका ने अपने बेटे देवेश राईका और बेटी शोभा राईका के लिए एसआई परीक्षा से 6 दिन पहले पेपर की व्यवस्था की थी, ताकि वे इसकी तैयारी कर सकें। पूछताछ में यह भी पता चला कि राईका को यह पेपर तत्कालीन आरपीएससी सदस्य बाबूलाल कटारा से प्राप्त हुआ था। इस मामले में कटारा को भी जयपुर सेंट्रल जेल से प्रोडक्शन वारंट पर गिरफ्तार किया गया।

देवेश और शोभा ने एसओजी की पूछताछ में खुलासा किया कि ट्रेनिंग सेंटर में कई अन्य एसआई भी हैं, जो पेपर लीक से जुड़े हुए हैं। इस खुलासे के बाद से लगातार गिरफ्तारियों का सिलसिला जारी है। एसओजी द्वारा मामले की जांच में पाई गईं अन्य खामियों के आधार पर और भी नाम सामने आने की उम्मीद है।

राजस्थान में भर्ती परीक्षाओं का पेपर लीक और उसकी गंभीरता:

राजस्थान में भर्ती परीक्षाओं में होने वाली धांधली ने राज्य प्रशासन और आम जनता के बीच विश्वास की खाई को चौड़ा कर दिया है। ऐसे मामलों में बड़े अधिकारियों और प्रभावशाली व्यक्तियों की संलिप्तता न केवल परीक्षा प्रक्रिया की पारदर्शिता पर सवाल खड़ा करती है, बल्कि उन लाखों विद्यार्थियों की मेहनत और भविष्य को भी खतरे में डालती है, जो पूरी ईमानदारी के साथ तैयारी कर रहे हैं।

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