मनीषा शर्मा। अजमेर के जेएलएन मेडिकल कॉलेज में रेजिडेंट डॉक्टर्स अपनी 8 सूत्रीय मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं। सोमवार को भी रेजिडेंट्स ने अपनी हड़ताल जारी रखी, जिससे अस्पताल में मरीजों की परेशानियों का अंदेशा था। हालांकि, अस्पताल प्रशासन ने किसी भी प्रकार की समस्या से बचने के लिए सीनियर रेजिडेंट्स और फैकल्टी को ओपीडी और इमरजेंसी सेवाओं में तैनात कर दिया है। अस्पताल अधीक्षक डॉक्टर अरविंद खरे ने बताया कि अगले आदेश तक सभी डॉक्टर्स की छुट्टियां निरस्त कर दी गई हैं।
628 रेजिडेंट्स हड़ताल पर, 4000 मरीजों की ओपीडी
रेजिडेंट डॉक्टर्स की हड़ताल के कारण 628 में से अधिकांश डॉक्टरों ने काम बंद कर दिया है। अस्पताल में प्रतिदिन लगभग 4000 मरीज ओपीडी सेवाओं का लाभ उठाते हैं। साथ ही, हर दिन करीब 60 मेजर और 10 माइनर ऑपरेशन होते हैं। हड़ताल को ध्यान में रखते हुए, इमरजेंसी और ओपीडी में किसी भी परेशानी से बचने के लिए जूनियर और सीनियर रेजिडेंट्स के साथ फैकल्टी को भी तैनात किया गया है।
हड़ताल की वजह और प्रशासन की तैयारी
रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉक्टर दिलराज मीना ने कहा कि उनकी 8 सूत्रीय मांगों पर पहले सरकार ने सहमति जताई थी, लेकिन लिखित समझौते के बावजूद अब तक उन मांगों को पूरा नहीं किया गया है। उन्होंने साफ किया कि जब तक उनकी मांगे पूरी नहीं होतीं, तब तक हड़ताल जारी रहेगी।
अस्पताल प्रशासन ने भीड़ को नियंत्रित करने और सेवाओं को बनाए रखने के लिए 35 अतिरिक्त डॉक्टर्स की मांग की है। अभी तक ओपीडी या इमरजेंसी में कोई विशेष समस्या नहीं आई है और सभी ऑपरेशन समय पर हो रहे हैं।