शोभना शर्मा। राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने उदयपुर में आयोजित विशिष्ट जन सम्मान समारोह के दौरान कहा कि आज लोग उसी की अंगुली काटने का प्रयास करते हैं, जिसे पकड़कर वे चलना सीखते हैं। इस कार्यक्रम में असम के राज्यपाल गुलाबचंद कटारिया भी उपस्थित थे। इस दौरान कटारिया और एक बुजुर्ग संघ कार्यकर्ता के बीच मंच पर बहस हो गई, जिसमें कटारिया ने बुजुर्ग को मंच से धकेल दिया।
राजे ने कार्यक्रम में कहा कि गुलाबचंद कटारिया ने चुन-चुनकर लोगों को भाजपा से जोड़ा है और उनके प्रयासों की सराहना की। वहीं, कटारिया ने सुंदर सिंह भंडारी के संघ प्रचारक के तौर पर उनके योगदान की चर्चा की।
कार्यक्रम के दौरान जनसंघ के संस्थापक सदस्य सुंदर सिंह भंडारी और डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी के बलिदान दिवस के अवसर पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इस दौरान एक संघ कार्यकर्ता विजय सुवालका पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को माला पहनाने के लिए मंच पर आए, लेकिन कटारिया ने उन्हें रोक दिया और सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें जबरन मंच से उतार दिया।
राजे ने कार्यक्रम के बाद उस बुजुर्ग कार्यकर्ता से मुलाकात की और उनकी समस्या सुनी। उन्होंने सुवालका को माला पहनाई और उनकी बातों को गंभीरता से लिया।
कटारिया ने इस घटना पर सफाई देते हुए कहा कि हमारे कार्यक्रम के बीच कोई विघ्न नहीं होना चाहिए। अनुशासित कार्यक्रम है और बीच में आकर माला पहनाने से व्यवस्था बिगड़ सकती है। कार्यक्रम के बाद सम्मान किया जा सकता है।
राजे ने अपने भाषण में कहा कि भंडारी जी ने राजस्थान में कई नेताओं को आगे बढ़ाया और संगठन को मजबूत किया। उन्होंने कहा कि भंडारी जी ने सच्चाई का पालन किया और आपातकाल के समय भी सच बोलकर गिरफ्तार हो गए थे।
कार्यक्रम में विभिन्न नेताओं का सम्मान भी किया गया, जिनमें विधानसभा स्पीकर वासुदेव देवनानी, राज्यसभा सांसद राजेंद्र गहलोत, और भारत विकास परिषद की राष्ट्रीय संयोजिका संतोष गोधा शामिल थे।