मनीषा शर्मा। कर्ज में डूबी टेलिकॉम कंपनी वोडाफोन आइडिया (VI) ने हाल ही में डिपार्टमेंट ऑफ टेलिकॉम (DoT) को ₹700 करोड़ का भुगतान किया है। यह भुगतान कंपनी ने अप्रैल-जून तिमाही के लिए लाइसेंस फीस और स्पेक्ट्रम बकाया के रूप में किया है। कंपनी के प्रवक्ता ने बताया कि पिछले 7-8 तिमाहियों से फंड की कमी के चलते VI अपने ड्यूज का पूरा भुगतान नहीं कर पा रही थी।
हाल ही में जुटाए गए फंड के बाद कंपनी ने अपने बकाया और वेंडर पेमेंट की प्रक्रिया को फिर से शुरू किया है। वोडाफोन आइडिया ने इक्विटी के जरिए लगभग ₹24,000 करोड़ जुटाए हैं, जिसमें अप्रैल में किए गए फॉलो-ऑन पब्लिक ऑफरिंग (FPO) से जुटाए गए ₹18,000 करोड़ भी शामिल हैं।
कर्ज में कमी और फंड जुटाने की योजना
जून तिमाही के अंत में वोडाफोन आइडिया का कुल कर्ज ₹4,650 करोड़ था, जो एक साल पहले ₹9,200 करोड़ था। इस कमी के साथ कंपनी अब 25,000 करोड़ रुपए का फंड जुटाने की योजना बना रही है, जो नेटवर्क एक्सपेंशन के लिए उपयोग किया जाएगा। इसके अलावा, कंपनी 10,000 करोड़ रुपए की अतिरिक्त नॉन-फंड बेस्ड फैसिलिटिज की भी तलाश कर रही है।
वित्तीय प्रदर्शन में सुधार
वित्त वर्ष 2025 की पहली तिमाही में कंपनी को ₹6,432 करोड़ का लॉस हुआ, जो पिछले साल की समान तिमाही के मुकाबले 18% कम है। अप्रैल-जून तिमाही में वोडाफोन आइडिया का ऑपरेशनल रेवेन्यू ₹10,508.30 करोड़ रहा। वहीं, इस तिमाही में कंपनी का ‘एवरेज रेवेन्यू प्रति यूजर’ (ARPU) 4.5% बढ़कर ₹146 हो गया।
वोडाफोन आइडिया ने 4 जुलाई से रिचार्ज की कीमतों में 25% तक की बढ़ोतरी कर दी है, जिससे कंपनी के ARPU में सुधार हुआ है। कंपनी की मौजूदा स्थिति में सुधार के साथ-साथ फंड जुटाने की योजना इसे मजबूती की ओर ले जा सकती है।